;

Dual Marker Blood Test : जानिए यह टेस्ट क्यों जरूरी है और इसकी पूरी जानकारी

marvel img

गर्भावस्था के दौरान माँ और बच्चे की सेहत की देखभाल बेहद जरूरी होती है। डुअल मार्कर ब्लड टेस्ट एक खास टेस्ट है जो गर्भ में पल रहे शिशु में जेनेटिक समस्याओं की जांच के लिए किया जाता है। इस ब्लॉग में हम आपको इस टेस्ट की पूरी जानकारी देंगे, जिससे आपको समझने में कोई दिक्कत न हो।

 

Dual Marker टेस्ट क्या है?

यह एक ब्लड टेस्ट है जो गर्भवती महिला के खून में मौजूद कुछ तत्वों की जांच करता है। इस टेस्ट से यह पता लगाया जाता है कि शिशु में किसी तरह की जेनेटिक बीमारी या असामान्यता तो नहीं है। खासकर यह टेस्ट डाउन सिंड्रोम (Trisomy 21) और एडवर्ड्स सिंड्रोम (Trisomy 18) जैसी समस्याओं का पता लगाने में मदद करता है।

 

यह टेस्ट कब करवाना चाहिए?

डुअल मार्कर टेस्ट को प्रेग्नेंसी के पहले तिमाही (First Trimester) यानी 9 से 13 सप्ताह के बीच करवाना चाहिए।

 

यह टेस्ट किन चीजों की जांच करता है?

यह टेस्ट खून में दो मुख्य बायोमार्कर की मात्रा को मापता है:

फ्री बीटा-hCG (Free Beta-Human Chorionic Gonadotropin) – इसकी मात्रा ज्यादा होने पर डाउन सिंड्रोम का खतरा हो सकता है।

PAPP-A (Pregnancy-Associated Plasma Protein-A) – इसकी मात्रा कम होने पर जेनेटिक समस्याओं की आशंका हो सकती है।

 

यह टेस्ट किन महिलाओं को कराना चाहिए?

यह टेस्ट हर गर्भवती महिला को कराने की सलाह दी जाती है, लेकिन खासतौर पर यह उन महिलाओं के लिए जरूरी है:

जिनकी उम्र 35 साल से ज्यादा है।

जिनकी पहले की गर्भावस्था में कोई जेनेटिक समस्या रही हो

जिनके परिवार में किसी को जेनेटिक बीमारी रही हो

अगर पहले की सोनोग्राफी में कोई समस्या नजर आई हो

 

Dual Marker टेस्ट कैसे किया जाता है?

यह एक साधारण ब्लड टेस्ट होता है, जिसमें:

महिला के हाथ से खून का सैंपल लिया जाता है।

लैब में जांच की जाती है कि फ्री बीटा-hCG और PAPP-A की मात्रा कितनी है।

3 से 5 दिनों में रिपोर्ट मिल जाती है।

अगर रिपोर्ट में कोई असमान्यता आती है, तो डॉक्टर आगे की जांच की सलाह देते हैं।

 

क्या यह टेस्ट 100% सही रिजल्ट देता है?

डुअल मार्कर टेस्ट सिर्फ एक स्क्रीनिंग टेस्ट है, इसका मतलब यह है कि यह सिर्फ जोखिम बताता है, न कि कोई निश्चित बीमारी की पुष्टि करता है। अगर रिपोर्ट में कोई दिक्कत आती है, तो डॉक्टर आगे के टेस्ट जैसे NIPT, Amniocentesis या CVS कराने की सलाह देते हैं।

 

इस टेस्ट की कीमत कितनी होती है?

भारत में इस टेस्ट की कीमत ₹1500 से ₹3500 तक हो सकती है। यह लैब और शहर के हिसाब से अलग-अलग हो सकती है।

 

Marvel Path Lab पर Dual Marker टेस्ट क्यों करवाएं?

सही और भरोसेमंद रिपोर्टकम कीमत में बेहतरीन सेवातेजी से रिपोर्ट मिलती हैघर से ब्लड सैंपल कलेक्शन की सुविधा

अगर आप भी अपनी गर्भावस्था में किसी भी तरह का रिस्क नहीं लेना चाहतीं और बेबी की हेल्थ को लेकर निश्चिंत रहना चाहती हैं, तो Marvel Path Lab में अपना डुअल मार्कर टेस्ट बुक करें।

📞 बुकिंग के लिए कॉल करें: 8222999888

 

;